|वि० सं०|18 सितम्बर 2013|
मधेपुरा जिला के उदाकिशुनगंज प्रखंड के बुधमा वार्ड
नं.1 से सेविका की उम्मीदवार नीतू मिश्रा बहाली के लिए घूस न देकर आज पछता रही है.
आंगनबाड़ी में अतिरिक्त केन्द्र पर नियुक्ति हेतु नीतू ने आवेदन किया तो सीडीपीओ
कार्यालय के दलाल ने एक लाख रूपये की मांग की. पर शुभचिंतकों ने नीतू से कहा कि
जब तुम्हारे अच्छे अंक हैं तो तुमसे कम अंक वाले का कैसे हो जाएगा. पर नीतू को
शायद ये नहीं पता था कि जिले की जिस बहाली में घूस का नंगा खेल चलता हो वहां
नियमों की धज्जी उड़ जाना बड़ी बात नहीं.
नीतू ने
मैट्रिक द्वितीय श्रेणी, इंटर द्वितीय श्रेणी और बी.ए. ऑनर्स भी द्वितीय श्रेणी से
पास किया था, पर मेरिट लिस्ट में बबीता कुमारी का नाम ऊपर देखकर नीतू के पाँव तले
से जमीन खिसक गई. नीतू विश्वास के साथ कहती है कि बबीता मैट्रिक द्वितीय श्रेणी और
इंटर तृतीय श्रेणी से पास है. फिर भी मेरिट लिस्ट में बबीता को 69.08% अंकों से
प्रथम स्थान तथा नीतू को 67.75% अंकों से दूसरा स्थान दिखा दिया गया है. नीतू का
दावा है कि बबीता ने फर्जी अंकपत्र तथा अन्य कागजात दाखिल किये हैं. हारकर नीतू ने
आरटीआई दाखिल करवाया और बबीता के अंकों की जानकारी चाही.
आरटीआई में सीडीपीओ ने दिया
अनोखा जवाब: न्यायालय सहायक राजेश कुमार सिन्हा ने आरटीआई के तहत मेधा सूची में प्रथम
स्थान पाने वाली बबीता कुमारी के अंक जानना चाहा तो उदाकिशुनगंज की विद्वान
सीडीपीओ जाया कुमारी ने अपने कार्यालय के पत्रांक 237 दिनांक 29.07.2013 के द्वारा
लिखा “ मांगी गई सूचना एक
आवेदक से सम्बंधित है, जिसको न तो चयन पत्र निर्गत है, न ही वो कार्यालय का कर्मी
है. अत: यह प्रतिबंधित सूचना है, इसको प्रकट करने से व्यक्ति के निजी
मामलों में अनावश्यक हस्तक्षेप होता है. अत: यह सूचना नहीं दी जा सकती
है.”
क्या कहते हैं आरटीआई
कार्यकर्ता: मधेपुरा के आरटीआई कार्यकर्ता राजीव जोशी कहते हैं कि ऐसी सूचना मांगने का
अधिकार एक उम्मीदवार को है. और यदि ऐसी सूचना देने में सीडीपीओ आनकानी करती है तो
फिर ऐसे चयन प्रक्रिया में पारदर्शिता बरतने के प्रशासन के दावे पर प्रश्नचिन्ह लग
जाता है.
जो भी
हो, सुशासन के भ्रम में मेरिट लिस्ट से बाहर की गई नीतू मिश्रा उन सभी शुभचिंतकों
को कोस रही है जिन्होंने उसे कहा था कि रिश्वत मत दो. नीतू कहती है कि आज अगर वो
बबीता की तरह दलाल की बातों में रहती तो उसकी नौकरी सुरक्षित थी. हालांकि नीतू की
अंतिम उम्मीद नए जिलाधिकारी पर टिकी हुई है जिनके पास उसने जनता दरबार में आवेदन
देकर अपनी बात कही है.
फोन नहीं उठाई सीडीपीओ: मधेपुरा टाइम्स ने जब
इस बावत उदाकिशुनगंज की सीडीपीओ जाया कुमारी को उनके मोबाइल नंबर 9431005467 पर आज
सुबह 09:15 पर फोन लगाया तो लंबे रिंग के बाद भी सुशासन के इस पदाधिकारी ने फोन रिसीव
नहीं किया. 09:20 पर डीपीओ को भी फोन लगाया गया परन्तु उन्होंने भी फोन का कोई
जवाब नहीं दिया.
उदाकिशुनगंज सीडीपीओ पर फर्जीवारे का आरोप
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
September 18, 2013
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