अपने बेटे की इस सफलता पर दोनों फूले नहीं समा रहे। हर्ष कहते हैं कि समाज के लिए कुछ बेहतर करने की इच्छा है, इसके लिए एक बेहतर प्लेटफॉर्म की आवश्यकता थी। इसलिए उन्होंने बीपीएससी यूपीएससी को चुना है। आज इसमें सफलता मिली है तो समाज की बेहतरी के लिए काम करेंगे। इधर, हर्ष के सफल होने के बाद गांव में जश्न का माहौल है। ग्रामीणों में काफी खुशी देखी जा रही है। नाते-रिश्तेदार भी काफी गदगद हैं।
मेधावी छात्र रहे हैं हर्ष
हर्ष अपने शुरुआती समय से ही मेधावी छात्र रहे हैं. हर्ष ने एनआरसी मुंबई महाराष्ट्र बोर्ड से 91.5 फीसदी अंकों के साथ मैट्रिक पास किया है. वहीं, प्लस टू सेंट्रल पब्लिक स्कूल कोटा राजस्थान बोर्ड से 86 फीसदी अंक के साथ उत्तीर्ण हुए. इसके बाद 2012 में आईआईटी पास किया जिसने उसका रैंक 1501 मिला और आईआईटी धनबाद से कंप्यूटर साइंस से इंजीनियरिंग किया. और कैंपस सलेक्शन से 1 वर्ष चेन्नई की प्लोरिस ग्रुप जो कि आरबीआई के लिए काम करती है बतौर सॉफ्टवेयर इंजीनियर काम किया। और वर्ष 2017 में यूपीएससी कि तैयारी के लिऐ दिल्ली रहने लगे और इसी दौरान 2017 में हर्ष ने बीपीएससी 64 वीं परीक्षा में भाग लिया और पहले ही प्र्यास में सफलता पाई।
यूपीएससी की परीक्षा पास कर देश की सेवा करना चाहते हैं हर्ष
हर्ष यूपीएससी की परीक्षा में भी अपीयर हो चुके हैं,2019 में प्रीलिम्स में सफलता पा चुके हैं लेकिन लेकिन इसमें उन्हें पूर्ण सफलता नहीं मिली. लेकिन उन्होंने कहा कि वो यूपीएससी की परीक्षा पास कर देश की सेवा करना चाहते हैं.
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