बताया कि अभियन्ता दिवस (इंजीनियर्स डे) 15 सितम्बर को मनाया जाता हैं. यह दिन मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया का जन्म दिवस हैं, जो कि एक महान इंजिनियर थे, इसलिए उन्हें श्रद्धांजलि देने के लिए इस दिन को इंजीनियर्स डे के नाम पर समर्पित किया गया. इन्हें एक अच्छे इंजिनियर के तौर पर सफलतम कार्य करने हेतु 1955 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था. इंजिनियर डे के द्वारा दुनिया के समस्त इंजिनियरों को सम्मान दिया जाता है. देश के बड़े बड़े वैज्ञानिक, इंजिनियर ने देश के विकास के लिए अनेकों अनुसन्धान किये.
इंचार्ज कला और संस्कृति, प्रो. मनोज कुमार साह ने अपने सम्बोधन में बताया कि यदि आप सच में एक अच्छा कंप्यूटर इंजिनियर बनना चाहते है तो CTRL+C और CTRL+V का कम से कम प्रयोग करें । किताबों के ज्ञान और अच्छे नंबर लाने से कोई इंजिनियर नहीं बनता, उसे अपनी काबिलियत साबित करनी पड़ती है। प्रो. मनोज कुमार साह ने अपने संबोधन में अभियंता दिवस पर भाग लेने वाले सभी स्टूडेंट्स को प्रोत्साहित किया । भारत में अभियंता दिवस का अपना एक बहुत अलग ही महत्व है।
प्रो. अजय गिरी ने अपने सम्बोधन में बताया कि इंजीनियरिंग केवल 45 विषयों का अध्ययन नहीं है बल्कि यह बौद्धिक जीवन का नैतिक अध्ययन है। प्रो. कुणाल कुमार ने अपने सम्बोधन में बताया कि इंजीनियर समस्याओं को हल करना पसंद करते हैं। अगर हाथ से उपलब्ध कोई समस्या नहीं है, तो वे अपनी समस्याएं खुद बनाएंगे। प्रो. राज कुमार ने अपने सम्बोधन में बताया कि विज्ञान ब्रह्मांड में मौजूद चीजों के बारे में आवश्यक सत्य की खोज कर रहा है, इंजीनियरिंग उन चीजों को बनाने के बारे में है जो कभी अस्तित्व में नहीं थीं।
प्रो. रमेश कुमार ने अपने सम्बोधन में बताया कि आप जो कुछ भी करते हैं उसमें पूर्णता के लिए प्रयास करें। जो मौजूद है उसमें से सबसे अच्छा लो और उसे बेहतर बनाओ। जब यह मौजूद नहीं है, तो इसे डिज़ाइन करें। श्री अभय कुमार आनंद ने अपने सम्बोधन में कहा कि इंजीनियर समस्याओं को हल करना पसंद करते हैं। अगर कोई समस्या आसानी से उपलब्ध नहीं है, तो वे अपनी समस्याएं खुद पैदा करेंगे।
अवसर पर सभी प्रोफेसर ने अपने अपने संबोधन में स्टूडेंट्स के उज्वल भविष्य की कामना की ।
इस आयोजन को सफल बनाने के लिए स्टूडेंट्स में ऋत्विक, कुंदन,शानू,श्वेता, आकांशा,दिव्या , विशाल कुमार, अनुप्रिया , चांदनी , आरती इत्यादि का महत्वपूर्ण योगदान रहा। कार्यक्रम के समापन पर विनर को ट्रॉफी मैडल और प्राइज का वितरण किया गया। विद्यार्थी ने प्रोग्राम आयोजन के लिए मनोज सर को धन्यवाद दिया, और इस तरह के और भी कार्यक्रम करने की इक्षा जाहिर की।
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