बैठक में कहा गया कि बिहार विधान सभा चुनाव में मधेपुरा जिले में भाजपा को एक भी विधान सभा से उम्मीदवार नहीं बनाए जाने पर पूरे जिले के कार्यकर्त्ता में गुस्सा है. बूथ स्तर से जिला स्तर के कार्यकर्त्ता अपने को उपेक्षित और अपमानित महसूस करते हैं.
गठबंधन के शुरुआती काल से आजतक भाजपा कार्यकर्त्ता उचित मान सम्मान और हिस्सेदारी नहीं मिलने के कारण मर्माहत है. आजतक भाजपा कार्यकर्त्ता मेहनत, परिश्रम के कारण गठबंधन के साथी दल से सांसद, विधायक बनते रहे लेकिन भाजपा कार्यकर्त्ता की सुधि लेनेवाला कोई नहीं रहा.
अतः सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि जबतक शीर्ष नेतृत्व इस सम्बन्ध में सकारात्मक पहल नहीं करता है तबतक जिले के कार्यकर्त्ता चुनाव संबंधी कोई भी कार्य नहीं करेंगे. साथ ही इस निर्णय से प्रदेश और केन्द्रीय नेतृत्व को अवगत कराया जा रहा है ताकि जिले के कार्यकर्त्ता का मान सम्मान बचे और उचित हिस्सेदारी तय हो.
बैठक में पूर्व प्रत्याशी डा० विजय कुमार विमल, पूर्व जिला अध्यक्ष महादेव चौधरी, अनिल कुमार यादव, अरविन्द अकेला, पूर्व आईटी के प्रदेश अध्यक्ष साकार यादव, जिला महामंत्री वीरेन्द्र चौधरी, जटाशंकर कुमार, मनोज शर्मा, जिला उपाध्यक्ष, रंजन रवि, अशोक मेहता, मंटू यादव, दीपक यादव, युवा मोर्चा जिला अध्यक्ष मंटू यादव, महिला मोर्चा अध्यक्ष रीता राय, अनुसूचित मोर्चा अध्यक्ष विनोद सरदार, मंडल अध्यक्ष अंकेश गोप, संजय सिंह, हरि कृष्ण, चन्दन चौधरी, दीपक कुमार, अनमोल आदि उपस्थित थे.
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
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October 11, 2020
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