|वि० सं०|03 जनवरी 2013|
जिला परिषद् के चुनाव को लेकर आज सुबह से दोपहर बाद
तक समाहरणालय परिसर पुलिस छावनी में तब्दील रहा. समाहरणालय में सुबह से ही
चप्पे-चप्पे पर सुरक्षाकर्मियों की नजर थी. सदर एसडीओ बिमल कुमार सिंह तथा मधेपुरा
के अंचलाधिकारी उदय कृष्ण यादव खुद भी इस दौरान पूरी तरह सक्रिय थे तो सदर
थानाध्यक्ष नवीन कुमार सिंह ने नेतृत्व में मधेपुरा पुलिस हर आने-जाने वालों पर
नजर रख रही थी.
चुनाव
में भाग लेने वाले जिला परिषद् सदस्य एक-एक कर आते गए और अधिकाँश के चेहरे पर किसी
तरह के भाव नहीं दिख रहे थे, हालांकि उनके दिलों की धड़कने निश्चित रूप से तेज
चल
रही होंगी. चेहरे का भाव सपाट होने की वजह शायद यह थी कि कोई यह न पढ़ ले कि वे
किसे वोट करने जा रहे हैं, क्योंकि सूत्र बताते हैं कि कुछ ने दोनों से ही वादे कर
रखे थे.
चल
रही होंगी. चेहरे का भाव सपाट होने की वजह शायद यह थी कि कोई यह न पढ़ ले कि वे
किसे वोट करने जा रहे हैं, क्योंकि सूत्र बताते हैं कि कुछ ने दोनों से ही वादे कर
रखे थे.
चुनाव
मैदान में जमे दोनों प्रत्याशी दमदार थे और कुछ भी अंदाजा करना मुश्किल था. एक तरफ
पूर्व जिप अध्यक्षा मीलन देवी फिर एक बार अध्यक्ष पद की दावेदार थी, जिनके पति
जदयू के जिलाध्यक्ष सियाराम यादव हैं तो दूसरी तरफ मंजू देवी थीं, जिनके छोटे
पुत्र मुरलीगंज नगर पंचायत के वार्ड पार्षद श्वेत कमल यादव उर्फ बौआ हैं और
मुरलीगंज नगर पंचायत की मुख्य पार्षद सर्जना सिद्धि, मंजू देवी की बड़ी बहू हैं. दोनों
ही पक्ष राजनीति के मंजे खिलाड़ी माने जाते हैं.
वहीँ
बाहर दोनों पक्षों के समर्थक जमे हुए थे और अपने-अपने
उम्मीदवार की जीत का दावा
ठोंक रहे थे. पर परिणाम घोषित होने के बाद श्वेत कमल उर्फ बौआ के समर्थकों को ही
एक-दूसरे को अबीर-गुलाल लगाने का अवसर प्राप्त हो सका.
उम्मीदवार की जीत का दावा
ठोंक रहे थे. पर परिणाम घोषित होने के बाद श्वेत कमल उर्फ बौआ के समर्थकों को ही
एक-दूसरे को अबीर-गुलाल लगाने का अवसर प्राप्त हो सका.
कैसे हुआ मतदान ?: समाहरणालय के सभागार में
जब सभी जिला परिषद् सदस्यों ने अपना स्थान ग्रहण कर लिया तो बाहर से आये
पर्यवेक्षक की उपस्थिति में मतदान की पूरी प्रक्रिया सदस्यों को समझा दिया गया.
अध्यक्ष और उपाध्यक्ष पद के लिए तैयार मत पत्र पर दोनों की उम्मीदवारों के नाम
अंकित थे. नाम के सामने (×) का चिन्ह अंकित करना था. किसी अन्य तरह के चिन्ह का
प्रयोग अथवा नाम के सामने नाम लिखे बैलेट पेपर को अयोग्य घोषित किया जाना था.
खैर,
सदस्यों ने मतदान किया और अध्यक्ष पद के लिए मंजू देवी को 12 वोट और मीलन देवी को
10 वोट मिले तथा 1 वोट को अयोग्य करार दिया गया. और इस तरह मंजू देवी जिला परिषद्
की नई अध्यक्षा चुन ली गई. उपाध्यक्ष पद के लिए अविनाश कुमार उर्फ गोनू झा चुन लिए
गए.
जिप अध्यक्ष चुनाव: सुरक्षा ऐसी कि परिंदा भी पर न मार सके
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
January 03, 2014
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January 03, 2014
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