मधेपुरा जिले के मुरलीगंज नगर पंचायत क्षेत्र के वार्ड संख्या 5 निवासी कृष्ण कुमार ने अपनी कड़ी मेहनत और लगन से इसरो (भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन) में वैज्ञानिक (ग्रेड–सी) के पद पर चयनित होकर क्षेत्र का नाम रोशन किया है। उनकी इस सफलता से परिवार सहित पूरे नगर में खुशी की लहर दौड़ गई है। घर में उत्सव जैसा माहौल है।
कृष्ण कुमार के पिता शंकर चौधरी ग्रामीण चिकित्सक हैं, जबकि माता सुलौचना देवी एक गृहिणी हैं। उनकी बड़ी बहनें पिंकी जायसवाल, सोनी कुमारी, आरुषि जायसवाल और मनीषा कुमारी सभी शिक्षित एवं विवाहिता हैं। कृष्ण कुमार मूल रूप से दीनापट्टी सखुआ पंचायत के तिलकोड़ा वार्ड के निवासी हैं, जबकि वर्तमान में उनका परिवार मुरलीगंज नगर पंचायत के वार्ड संख्या 5 में निवास करता है।
कृष्ण कुमार ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा मुरलीगंज स्थित वरदान विद्या आश्रम से प्राप्त की। उन्होंने मैट्रिक की परीक्षा वर्ष 2015-16 में बी.एल. इंटर स्कूल मुरलीगंज से 74.4 प्रतिशत अंकों के साथ उत्तीर्ण की। इंटरमीडिएट की पढ़ाई केपी कॉलेज मुरलीगंज से 2016-18 में पूरी की, जिसमें उन्होंने 65.6 प्रतिशत अंक प्राप्त किए। इसके बाद उन्होंने 2019 में जेईई मेन्स परीक्षा में 46,457वीं रैंक प्राप्त की और भागलपुर इंजीनियरिंग कॉलेज से कंप्यूटर साइंस शाखा में चार वर्षीय बी.टेक डिग्री कोर्स पूरा किया।
कृष्ण कुमार ने वर्ष 2024 में GATE परीक्षा में शानदार प्रदर्शन करते हुए अखिल भारतीय स्तर पर 112वीं रैंक प्राप्त की। इसके आधार पर उनका चयन हरियाणा पावर ग्रिड में कार्यपालक अभियंता (Executive Engineer) के पद पर हुआ। इसी दौरान उन्होंने मई 2023 में इसरो में वैज्ञानिक ग्रेड-सी पद के लिए आवेदन किया। जनवरी 2024 में परीक्षा और अगस्त 2024 में इंटरव्यू देने के बाद, अक्टूबर 2025 में उन्हें इसरो से नियुक्ति पत्र प्राप्त हुआ।
कृष्ण कुमार अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता, बहनों, शिक्षकों और परिजनों को देते हैं। चार भाई-बहनों में अकेले कृष्ण कुमार ने इसरो में वैज्ञानिक बनकर न केवल अपने परिवार का बल्कि मुरलीगंज का भी नाम गौरवान्वित किया है। पूरे मधेपुरा जिले का नाम रोशन किया.
उन्होंने बीएल हाई स्कूल के तत्कालीन प्रधानाध्यापक रुद्रधर झा नवल के विद्यालय संचालक की प्रशंसा की. वहीं उन्होंने बताया कि गणित के शिक्षक शम्स परवेज शम्सी के बारे में बताया कि वह हमेशा प्रोत्साहित करते रहते थे की गणित अगर अच्छा होगा तो इंजीनियरिंग के क्षेत्र में जा सकते हो और उन्होंने काफी सहयोगात्मक रूप अपनाया भी था. वहीं विद्यालय के विज्ञान शिक्षक कृष्ण कुमार यादव की प्रशंसा की.
इसरो में चयन होने पर बी एल हाई स्कूल के तत्कालीन रसायन विज्ञान के शिक्षक सुनील कुमार कृष्ण कुमार सफलता पर बधाई दी और कहा कि सफलता किसी की मोहताज नहीं होती, छात्र तो सभी होते हैं पर सच्ची लगन से जो पढ़ाई करते हैं उन्हें सफलता अवश्य मिलती है.
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
October 30, 2025
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