बिहार राज्य आंगनबाड़ी कर्मचारी यूनियन ( एटक) के तत्वाधन में जिला ईकाई मधेपुरा के सौजन्य से पुरैनी प्रखंड मुख्यालय स्थित समेकित बाल विकास परियोजना कार्यालय पुरैनी के समक्ष सेविकाओं-सहायिकाओं ने धरना दिया.
सेविका फरजाना खातून की अध्यक्षता में संघ के 16 सूत्री मांगों को लेकर जहां पुरैनी प्रखंड अन्तर्गत संचालित सभी आंगनबाड़ी केन्द्र में 24 मार्च कों ही तालाबंदी कर दिया गया, वहीं परियोजना कार्यालय के समक्ष लगातार सभी सेविका व सहायिकाओं का अनवरत धरना-प्रदर्शन जारी है। धरना प्रदर्शन में प्रखंड क्षेत्र की सभी सेविका व सहायिका बढ चढ कर हिस्सा ले रही है।
धरना-प्रदर्षन को संबोधित करते हुए सेविका विभा कुमारी नें कहा की आंगनबाड़ी सेविका-सहायिकाओं से सरकार कर्मचारी से भी अधिक कार्य ले रही है। बावजूद इन्हें सरकारी कर्मचारी का दर्जा देने की बात तो दूर दैनिक मजदूर को मिलने वाली न्यूनतम मजदूरी के समान भी मानदेय राशि नहीं दिया जाता है। जब तक सरकार हमारी मांगों को पूरा नहीं करेगी तबतक हड़ताल व आन्दोलन जारी रहेगा। वहीं इस दौरान सेविकाओं ने लोकगीत के माध्यम से भी अपनी मांगों व पीड़ा का बखान किया।
क्या है मांग?: 16 सूत्री मांगों में आंगनबाड़ी सेविका-सहायिकाओं को सरकारी कर्मचारी का दर्जा देने सहित सेविका को क्लास 3 एवं सहायिका को क्लास 4 के रूप में समायोजित करने, गोवा तेलंगाना की भांति 7 हजार सेविका और 4500 सहायिका को अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि देने, जब तक सरकारी कर्मचारी का दर्जा नहीं मिलता सेविका को 18 हजार एवं सहायिका को 10 हजार रूपये मानदेय देने, स्वास्थ्य चिकित्सा सुविधा एवं राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा सुविधा देने, सेवानिवृति की उम्र सीमा 60 से 65 करने, सेवानिवृति के पश्चात् 5 हजार मासिक पेंशन या एक मुश्त 5 लाख देने, जबतक सरकारी कर्मचारी का दर्जा नहीं मिलता चुनाव लड़ने पर रोक एवं अन्य सुविधाओं पर से रोक हटाने, मीनी आंगनबाड़ी सेविकाओं को समान मानदेय देने, सेविका को सुपरवाईजर व सहायिका को सेविका में प्रमोशान देने, आंगनबाड़ी मार्गदर्शिका में नियमानुकुल आवश्यक संशोधन करने, अवैध ढंग से चयन रद्द करने, सेवानिवृति, पेंशन, ग्रेट्यूटि और प्रोविडेन्ट फंड सहित सभी सामाजिक सुरक्षा उपलब्ध कराने सहित अन्य मांग शामिल है।
वहीं इस मौके पर अन्नपुर्णा ज्योति, पूनम भारती, संगीता कुमारी, गायत्री देवी, ललिता कुमारी, जरीना खातुन, खुशबू कुमारी, किरण कुमारी, प्रतीक्षा कुमारी, शाहनाज खातुन, रविना खातुन, कुंदन कुमारी, संजु सुमन, राधा कुमारी, चंद्रलता चांद, मीना कुमारी, नीपु कुमारी, विभा देवी, किरण कुमारी, सहित दर्जनों अन्य उपस्थित थे।
आऱ-पार के मूड में सेविकायें: लोकगीत के माध्यम से पीड़ा का किया बखान
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
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March 29, 2017
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