गैंगरेप-हत्या में फैसले का पूर्णियां की महिलाओं ने किया स्वागत

 |दिलीप राज|13 सितम्बर 2013|
मौसमी
मिली
मीना
स्वाती
पूर्णिया उन चंद शहरों में से एक है जहाँ बलात्कार के मामलों के आंकड़े लोगों को डराते हैं. जिले में 2001-2012 तक बलात्कार के 603 मामले दर्ज हुए हैं. इस आंकड़े को देख महिलायें  घर से निकलने से पहले सौ बार सोचती है क्या वो घर सुरक्षित लौट पायगी ?  ऐसे में दिल्ली गैंगरेप और हत्या मामले में दोषियों को फांसी की सजा मिलने का पूर्णिया की महिलाओं ने स्वागत किया है.

स्वाती वैश्यंत्री(सदस्य,रेड क्रॉस): " फैसला देर से आया लेकिन दुरुस्त आया. हर वर्ग में इस फैसले का स्वागत होगा. इस तरह के मामले में फैसले कम से कम समय में आने चाहिए. साथ ही बलात्कार के मामले में भी फाँसी की सजा मिलनी चाहिए. इससे बलात्कार की घटनाओं में जरूर कमी आयेगी."  


मीना कुमारी (कंप्यूटर इंस्ट्रक्टर): "यह बहुत सही फैसला है. इन अपराधियों ने जिस तरह का कुकृत्य किया है उसके लिए इन्हें मौत की ही सजा मिलनी चाहिए ताकि इस तरह की जघन्य घटना को अंजाम देने की कोई सोचे भी नहीं."

मिली कुमारी (छात्रा): " इस फैसले से बलात्कार की घटनाएं ख़त्म तो नहीं होंगी लेकिन इनमे कमी जरूर आयेगी: सामाजिक स्तर  पर भी इस समस्या से लड़ने की जरूरत है."

मौसमी(छात्रा): "इस फैसले के बाद लड़कियों के जेहन का डर ख़त्म होगा. दामिनी काण्ड के बाद जो लड़कियां घर से बाहर निकलने से पहले खौफ खाती थी उनमे हिम्मत आयेगी. लेकिन लड़कों को भी लड़कियों के प्रति नजरिया बदलने की जरूरत है."
गैंगरेप-हत्या में फैसले का पूर्णियां की महिलाओं ने किया स्वागत गैंगरेप-हत्या में फैसले का पूर्णियां की महिलाओं ने किया स्वागत  Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on September 13, 2013 Rating: 5

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