सत्यम हत्याकांड आरोपी को गिरफ्तार करने के लिए पुलिस को करना चाहिए वैज्ञानिक अनुसंधान. पुलिस के द्वारा सत्यम हत्याकांड में सीसीटीवी खंगालने पर बहुत सारे एविडेंस हाथ लग सकते हैं. वहीं अगर पुलिस वैज्ञानिक अनुसंधान करे तो आरोपी के कॉल डिटेल्स सहित स्कूल में रह रहे सभी शिक्षकों के कॉल डिटेल्स की जांच की जाए तो जल्द ही हत्या की गुत्थी सुलझ सकती है और हत्यारा पुलिस के गिरफ्त में होगा.
थाना अध्यक्ष अमित कुमार राय ने बताया कि सत्यम हत्याकांड के आरोपी गौरव सहित सभी आरोपी की तलाश पुलिस जगह-जगह कर रही है.
प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के द्वारा कहा जा रहा है कि सेंट माइकल प्ले स्कूल मेरे सदस्य नहीं हैं और वहीं शिक्षा पदाधिकारी बता रहे हैं कि सेंट माइकल प्ले स्कूल का कोई भी रजिस्ट्रेशन या किसी प्रकार की जानकारी विभाग को नहीं दिया गया है तो किस आधार पर सेंट माइकल प्ले स्कूल चल रहा था. इस बात की चर्चा जगह-जगह चल रही है कि बिना किसी लाइसेंस का विद्यालय कैसे चलाया जा रहा था.
हत्या के दिन हॉस्टल में और भी थे बच्चे
सेंट माइकल प्ले स्कूल में जिस दिन सत्यम की हत्या हुई थी उस दिन हॉस्टल में और भी बच्चे थे हत्या के बाद हॉस्टल में रह रहे बच्चे आखिर कहां गए क्या वह सभी बच्चे सही सलामत घर पहुंचे या नहीं यह भी एक पहेली बनी हुई है.
बच्चों को पहले छुपाया बाद में सत्यम के शव को लगाना चाहते थे ठिकाना
हत्या के बाद संचालक विद्यालय छोड़ कर फरार होने की स्थिति में बच्चे को कहां छुपाया यह एक जांच का विषय है. लोगों की माने तो बीती बुधवार को स्कूल संचालक पहले बच्चों व शिक्षकों के साथ दो रसोइया नजदीक के एक निजी विद्यालय में छुपाया, उसके बाद सत्यम के शव को लेकर नाटकीय ढंग से बीमारी का बहाना बनाया और गम्हरिया पीएचसी ले गया परंतु उनकी चालाकी काम नहीं आयी. सत्यम के शव को ही इलाज कराने के नाम पर जननायक कर्पूरी ठाकुर मेडिकल कॉलेज ले जाया गया और वहां शव को फेंक कर चलते बने और आज तक फरार चल रहा है स्कूल संचालक गौरव कुमार.
बहरहाल जिले के गम्हरिया प्रखंड स्थित सेंट माइकल प्ले स्कूल के हॉस्टल में रह रहे 10 वर्षीय सत्यम की हत्या के बाद वजह समेत कई राज अभी खुलना बाकी है.

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