आईपीएस का दवाब में आना उनकी व्यक्तिगत कमी: एसपी

|वि० सं०|23 नवंबर 2013|
क्या बिहार में एक आईपीएस अधिकारी को काम करने में किसी तरह का दवाब मसहूस करना पड़ता है ? मधेपुरा टाइम्स के द्वारा पूछे इस सवाल पर मधेपुरा के निवर्तमान एसपी सौरभ कुमार शाह ने कहा कि एक आईपीएस अधिकारी होने की वजह से दवाब बहुत कम है. चूंकि हमारी सर्विस कंडीशन केन्द्र के द्वारा संचालित होते हैं भारतीय संविधान के आर्टिकल 312 में हमारे लिए सेफगार्ड्स हैं. इसके बावजूद यदि हम दवाब में आते हैं तो वह हमारी व्यक्तिगत कमी है. कोई भी राज्य किसी को दवाब में नहीं डाल सकती है. एक आईपीएस के रूप में हमारा दायित्व है कि न हम खुद दवाब में रहें और साथ ही अपने साथ काम करने वाले अन्य अधिकारी को भी दवाब से मुक्त रखें.
      मधेपुरा टाइम्स के बारे में निवर्तमान एसपी ने कहा कि मैं इसका लगातार नियमित पाठक रहा. बाहर छुट्टियों में भी जाता था तो मधेपुरा टाइम्स नियमित रूप से देखता था जिसकी वजह से मैं मधेपुरा की नब्ज से मैं दूर नहीं हो पाता था.
      मधेपुरा के लोगों की प्रशंसा करते हुए निवर्तमान एसपी सौरभ कुमार शाह ने कहा कि यहाँ विभिन्न धर्म और समुदाय के लोग जिस तरह से मिलकर रहते हैं उसी तरह वे बनाये रखें जिससे मधेपुरा जैसे पिछड़े इलाके में विकास की धारा बहती रहे.
सुनें मधेपुरा से जाने से कुछ ही मिनट पहले मधेपुरा टाइम्स से एक्सक्लूसिव बातचीत में एसपी सौरभ कुमार शाह ने क्या कहा ? यहाँ क्लिक करें.
आईपीएस का दवाब में आना उनकी व्यक्तिगत कमी: एसपी आईपीएस का दवाब में आना उनकी व्यक्तिगत कमी: एसपी Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on November 23, 2013 Rating: 5

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