जिला प्रशासन
मधेपुरा का यह कदम वाकई सराहनीय है. वर्षों से सिंघेश्वर मंदिर का पोखर शिवगंगा
उद्धारक की बाट जोह रहा था. एसडीओ गोपाल मीणा के समय से ही जब इसे पुनर्निर्माण के
नाम पर तोड़ा गया था तो उसके बाद इसकी स्थिति पहले से भी खराब हो गई थी. श्रद्धालु
इसे गंगा की तरह मानते हैं औ भगवान शंकर के शिवलिंग पर जलाभिषेक से पहले यहाँ
स्नान आदि कर इसी का पानी ले जाकर बाबा की पूजा अर्चना करना अच्छा मानते हैं. पर
हाल के दिनों में टूटने के बाद श्रद्धालुओं को यहाँ खासी परेशानी का सामना करना पड़
रहा था.
मधेपुरा के जिलाधिकारी का ध्यान जब इस
ओर आकृष्ट कराया गया तो उन्होंने इसी वर्ष के गत बारह फरवरी को पर्यटन विभाग बिहार
सरकार से शिवगंगा के जीर्णोद्धार के लिए पूरी स्थिति बताकर राशि की मांग की.
जिलाधिकारी का प्रयास रंग लाया और आज महाशिवरात्रि के दिन ही बिहार सरकार द्वारा
भेजी गई राशि 02 करोड़ 80 लाख 54 हजार से सम्बंधित पत्र मधेपुरा प्रशासन को प्राप्त
हुआ. सिंघेश्वर मेले के उदघाटन के बाद सिंघेश्वर मंदिर न्यास समिति के द्वारा
आयोजित कार्यक्रम में जिलाधिकारी उपेन्द्र कुमार ने इस बाबत प्राप्त पत्र का
उल्लेख करते हुए कहा कि ये सरकार का सिंघेश्वर मंदिर को एक बड़ा तोहफा है और अब
इसके जीर्णोद्धार के लिए प्राप्त राशि से निश्चय ही एक खूबसूरत शिवगंगा भगवान शंकर
के भक्तों को प्राप्त होगा जो देखने योग्य होगा.
मुख्यमंत्री का सिंघेश्वर को तोहफा: शिवगंगा के लिए मिले करीब 3 करोड़
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
March 10, 2013
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