प्यार तुम क्या चीज हो: अबूझ, अनाम,एक चिरंतन रहस्य?

प्यार तुम क्या चीज हो,
                     अबूझ,
                         अनाम,
                            एक चिरंतन रहस्य?
प्रेम के चिरंतन रहस्य के उदघाटन में पीढियां दर पीढियां गुजरती रही, लेकिन रहस्य गहराता रहा. थक कर अन्वेषकों ने 'प्यार' की सार्वभौमिकता स्वीकारी तो 'वेलेंटाइन दिवस' की उत्पत्ति हुई. वेलेंटाइन प्यार और रोमांस के संत के रूप में मशहूर हैं, जो मूलतः रोम के रहने वाले थे. संत वेलेंटाइन की याद में 14 फरवरी को वेलेंटाइन डे के रूप में मनाने की परंपरा सदियों से रही है. पश्चिमी देशों में मनाये जाने वाले इस खास दिवस को अब भारत में भी बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है.

हाल-ए-दिल बयां करने का दिवस: युवाओं को इस खास दिन का बेसब्री से इन्तजार रहता है, क्योंकि यह दिन अपने हाल-ए-दिल को बयां करने का एक सुनहरा अवसर होता है. 'कहनी थी तुमसे जो दिल की बात, लो आज मैं कहता हूँ.......' के द्वारा युवा अपनी चिर आकांक्षा को पूरा करते हैं. एलआईसी में विकास अधिकारी युवा मुकेश कुमार कहते हैं कि प्रणय निवेदन करना आसान नही होता है. इस मुश्किल को आसान वेलेंटाइन डे ही करता है. सच भी है कि 'ढाई अक्षर' को व्यक्त करने में कभी-कभी वर्षों लग जाते हैं और तब तक सब कुछ हाथ से निकल चुका होता है.

रिश्ते पर लगती है मुहर: वेलेंटाइन डे प्यार को रिश्ते में बदलने का अवसर प्रदान करता है. 'लाख गहरा हो सागर तो क्या, प्यार से कुछ भी गहरा नही....' यहाँ इस अवसर पर मूर्त रूप ग्रहण करता है. शादियों में 'मध्यस्थ' की भूमिका सीमित होती  जा रही है. युवा अपनी पसंद को ही रिश्ते में तब्दील कर रहे हैं. पसंद की खोज वेलेंटाइन डे जैसे अवसरों पर ही पूरी होती है. प्यार को शादी तक पहुंचाने वाले रंधीर सिंह स्वीकार करते हैं कि उनके रिश्ते की नींव संत वेलेंटाइन के दिवस पर ही पडी थी. शादी-शुदा इस अवसर पर अपनी भावना का इजहार कर रिश्ते में गर्माहट लाने का प्रयास करते हैं.

लाल गुलाब की है खास अहमियत: लाल रंग प्यार एवं शुभकामना का प्रतीक माना जाता है. बात करें लाल गुलाब की तो यह इजहार का खास प्रतीक है. इस दिन गुलाब भेंट कर प्यार का इजहार किया जाता है. आम दिनों में पांच रूपये में मिलने वाला गुलाब खास-दिन दस से पन्द्रह रूपये में बिकता है. इस दिन मणिपाल गुलाब की मांग सर्वाधिक होती है जिसकी पंखुड़ी जल्दी नही झडती है. गिफ्ट के तौर पर पेश किया जाने वाला गुलाब 30-100 रूपये तक में बिकता है.

कार्ड का क्रेज है घटा पर है बरकरार: अभिव्यक्ति के कई माध्यम हैं. अभिव्यक्ति के आधुनिक विभिन्न डिजिटल माध्यमों के बावजूद आज भी कार्ड का क्रेज कमोबेस बरकरार है. कार्ड खरीद कर लौटी डेजी कहती हैं कि कार्ड सहेज कर रखने की चीज है जिससे आप लंबे समय तक अपनी भावना को महसूस कर सकते हैं. बाजार में आकर्षक डिजाइन में 30-150 रूपये का कार्ड उपलब्ध है. खास बात यह है कि अधिकाँश कार्ड पर वेलेंटाइन डे लिखा हुआ नही है.

गिफ्ट आइटमों से सजा बाजार: वेलेंटाइन डे के अवसर पर बाजार में गिफ्ट के सैकड़ों आइटम मौजूद हैं. ऐसे मौके पर सर्वाधिक बिक्री 'कपल गिफ्ट' की होती है, जिसमे पुरुष और नारी दोनों की उपस्थिति होती है. यह 50-200 के रेंज में उपलब्ध है. क्रिस्टल डॉल्फिन 80-300 के रेंज में उपलब्ध है. सबसे सुलभ 'फ्रेंडशिप बैंड' उपलब्ध है जिसकी कीमत 10-20 रूपये है.

होगी  अपनों से दिल की बात: युवा आईटी प्रोफेशनल अभय राज कहते हैं कि खास दिन में कुछ मस्ती एवं कुछ शरारत होगी. साथ ही होगी अपनों से दिल की बात. बहुत सारे युवाओं का कहाँ है कि नए दौर में ई-मेल और चैटिंग के जरिये लोग अपनी बात धडल्ले से कहते हैं. अपने इंजीनियर पति से दूर प्रिया कहती है कि उन्हें मिस तो कर ही रही हूँ, लेकिन खास दिन उनसे मोबाइल के जरिये अपनी बात कह सकूंगी.   
(प्रस्तुति: पंकज भारतीय)
प्यार तुम क्या चीज हो: अबूझ, अनाम,एक चिरंतन रहस्य? प्यार तुम क्या चीज हो: अबूझ, अनाम,एक चिरंतन रहस्य? Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on February 14, 2015 Rating: 5

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