|मुरारी कुमार सिंह|12 दिसंबर 2013|
मधेपुरा के अल्पावास गृह के पदाधिकारी और कर्मचारी
इन दिनों खासे परेशान है. दरअसल
मुख्यमंत्री नारी शक्ति योजना के अंतर्गत बने महिलाओं के रहने ले लिए अल्पावास गृह
में अब मानसिक रूप से विक्षिप्त महिलओं की संख्यां सात हो चुकी है और इन्हें
संभालना कर्मचारियों के लिए टेढ़ी खीर बन चुका है. अल्पावास
गृह की पुनर्वास पदाधिकारी अंजू कुमारी बताती है कि यहाँ शहनाज.
माधुरी, रीना,
नंदी, फूलमाया समेत कुल विक्षिप्त महिलाओं की संख्यां 7 हैं, जबकि अल्पावास गृह के
नियमों के मुताबिक़ यहाँ समाज के पीड़ित, शोषित और हिंसा की शिकार महिलाओं को रखने
का प्रावधान है जिनमें पागलों को यहाँ नहीं रखा जाना है.
अल्पावास
गृह की ओर जिला प्रशासन से इन सातों महिलाओं को पागलखाने भेजने का अनुरोध किया जा
चुका है, पर जब तक ये महिलायें यहाँ से ले नहीं जाई जाती है, तब तक अल्पावास गृह
के अधिकारी और कर्मचारियों के तनाव कम होने वाले नहीं हैं.
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