मिशाल बना मधेपुरा का एक पंचायत: रंग लाया नशा मुक्ति अभियान

 नि०प्र०/07/11/2012
मधेपुरा प्रखंड मठाही ग्राम पंचायत का मठाही गाँव इन दिनों बिहार में चर्चा का विषय बना हुआ है. सूबे की सरकार जहाँ अप्रत्यक्ष रूप से शराबखोरी को बढ़ावा देने में लगी है वहीँ इस गांव में सामाजिक प्रयास से शराबखोरी बंद हो चुका है. नतीजा सामने है. जिनका घर नशा के कारण बर्बाद हो चुका था उनकी भी जिंदगी वापस पटरी पर दौड़ने लगी है.
            मो० निजाम की जिंदगी नशाखोरी के कारण बर्बाद हो चुकी थी. पत्नी घर का सामान लाने भेजती थी तो निजाम उस पैसे के दारू पीकर वापस आ जाता था और पत्नी बच्चों के साथ मारपीट किया करता था. गांजा और शराब का आदी निजाम बीमार भी रहने लगा था. गाँव के लोगों के चलाये नशा मुक्ति अभियान के तहत जुर्माना भरने के डर से निजाम ने नशा छोड़ा तो आज वह बहुत खुश है. पारिवारिक जिम्मेवारियां समझने वाला निजाम अब दूसरे को शराब न पीने की सलाह देते हुए कहता है कि शराब आपका सबकुछ बर्बाद कर देती है.
            गाँव की गीता देवी कहती है ये गाँव के लिए बहुत ही अच्छा हुआ. बहुत भोगी थी अब सामजिक सौहार्द भी बढ़ गया है और गाँव प्रगति कर रहा है.
            दरअसल इस नशामुक्ति अभियान के पीछे गाँव की मुखिया के पति अजीर बिहारी उर्फ देवराज अर्श की इच्छाशक्ति काम कर रही है. उन्होंने जब गाँव के प्रमुख लोगों से गांव में नशे के कारण बर्बाद हो रहे युवाओं को सुधारने कि बात शुरू की तो धीरे-धीरे पूरा गाँव ही उनके इस अभियान में शामिल हो चला. अब स्थिति यह है कि गाँव में दारू-शराब तो दूर गांजा पीने और जुआ खेलने पर भी पाबंदी लग चुकी है. शराब पीकर नौटंकी करने वालों पर 5 हजार रूपये, जुआ खेलने वालों पर 5 सौ रूपये तथा जिनके दरवाजे पर जुआ खेला जा रहा है उनपर 1 हजार 1 सौ रूपये तथा इसी तरह अन्य खराब आदतों पर दंड की राशि निर्धारित की गयी है. अब गाँव में अश्लील गाना तक नहीं बजाय जा सकता है.
            परिणाम बेहतर दीख रहे हैं. गांव में नशामुक्ति अभियान का जत्था घुमते रहता है और रविवार की पंचायत में आरोपी पर दंड लगाया जाता है. देवराज अर्श कहते हैं कि नशा के कारण गाँव के लड़के पढ़ाई-लिखाई में भी पिछड़ रहे थे. हमेशा मारपीट करने वाले इन नशाखोरों कि वजह से गाँव का संस्कार खराब हो चुका था. पर अब यह अभियान शत-प्रतिशत सफल है. इतना ही नहीं अब गांववाले जिलाधिकारी को पत्र लिखकर उनके गाँव से शराब की दूकान को हटाने की भी गुजारिश करेंगे.
मिशाल बना मधेपुरा का एक पंचायत: रंग लाया नशा मुक्ति अभियान मिशाल बना मधेपुरा का एक पंचायत: रंग लाया नशा मुक्ति अभियान Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on November 07, 2012 Rating: 5

2 comments:

  1. THIS IS GREAT... HOPE ALL MUKHIYAS SEE THIS ARTICLES.. NOT ONLY MUKHIYAS.. BUT EVRY VILLAGE SHOULD SEE THIS.. AND THEY SHOULD APPLY IT IN THEIR VILLAGES TOO..

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  2. Its a very good and fantastick work,that work wll be devlope our village,My native palace is mathahi madhepura,but m living in chennai...And very2 thanks our mukhiyas 4 doing this work..... thanks alote

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