‘कुसंगति है विनाश का कारण’

संजय कुमार/21 सितम्बर 2012
बुधवार को मुरलीगंज स्थित बाबा रामदेव मंदिर में सात दिवसीय भगवत कथा की शुरुआत हुई.भगवत कथा दोपहर एक बजे से शाम साढ़े पांच बजे तक होगी.आठवें दिन हवन की पूर्णाहूति भगवती पूजन भगवती विराम होगा.इस मौके पर मुख्य कथावाचक के रूप में पंडित श्याम सुन्दर शास्त्री (रोड़ानौखामंडी वाले) कोलकाता से पधारे हुए हैं.उनके साथ पंडितों और कलाकारों की टीम मौजूद है.
     भागवत कथा के पहले दिन प्रवचन करते हुए पंडित श्री शास्त्री ने नारद चरित्र की विशद विवेचना की.उन्होंने कहा कि नारद चरित्र से हमें यह शिक्षा मिलती है कि मनुष्य को हमेशा अच्छी संगत करनी चाहिए.अच्छी संगत से मनुष्य जमीन से आसमान तक पहुँच सकता है.इसका जीता जगता उदहारण श्री नारद हैं जो दासी पुत्र होकर भी तीनों लोक में में स्वच्छंद विचरण करते हैं.उन्होंने कहा कि संगत के भटकाव मात्र से ही लोग बुरे आचरण को अपनाते हैं जो उनके विनाश का कारण होता है.उसका परिणाम इस रूप में आता है कि उस व्यक्ति के साथ-साथ पूरा परिवार और समाज भी प्रभावित होता है.इसलिए हमेशा कुसंगति से बचना चाहिए.
   कार्यक्रम के पहले दिन समस्त देवी-देवताओं का आह्वान किया गया.विधिवत पूजन और प्रतिष्ठा की गयी.सुबह में भव्य कलशयात्रा एवं शोभायात्रा निकाली गयी जिसमे बड़ी संख्यां में महिलाओं ने हिस्सा लिया.कलश यात्रा बाबा रामदेव के मंदिर से शुरू होकर भाया मिड्ल चौक हात बाजार होते हुए वापस मंदिर तक पहुंची.इस कार्यक्रम से इलाके का वातावरण भक्तिमय हो उठा है.कार्यक्रम के सफल सञ्चालन में मंदिर समिति के रामगोपाल सोनी, इंदरचंद बोथरा, कैलाश राठी, उमेश सोनी, बिनोद बाफना आदि की भूमिका सराहनीय रही.
‘कुसंगति है विनाश का कारण’ ‘कुसंगति है विनाश का कारण’ Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on September 21, 2012 Rating: 5

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