कुछ याद इन्हें भी कर लो: 15% से भी कम काम हुए हैं NH-106 में, RTI से खुलासा: क्या हुआ हाई कोर्ट के संज्ञान के बाद ?

लोकसभा चुनाव सर पर हैं और जिम्मेवारी से भागने वाले नेता जहाँ जनता को गुमराह करने की कोशिश में रहेंगे वहीं जनता शायद मुद्दों की तलाश में रहेगी. 


वैसे बिहार में ये भी कहते हैं कि पहले मुद्दों की बात तो रहती है, बाद में कैडर और जाति, मुद्दों पर हावी हो जाते हैं. खैर जो भी हो, इस चुनाव में कोशी की जनता के लिए सड़क एक बड़ा मुद्दा होना ही चाहिए. 

क्या हुआ चीफ जस्टिस के संज्ञान के बाद?

आपको याद होगा जब पिछले 29 दिसंबर 2018 को अपने दौरे के दौरान पटना उच्च न्यायालय के चीफ जस्टिस श्री ए. पी. शाही ने NH 106 की स्थिति पर कड़ी टिप्पणी करते हुए कहा था कि इसपर यात्रा करना वैतरणी पार करने जैसा है. चीफ जस्टिस के बयान पर उच्च न्यायालय ने संज्ञान ले लिया था.

पर तब से अबतक इस नेशनल हाई वे संख्या 106, बीरपुर से बीहपुर की स्थिति कितनी बदली है? यदि आप वर्तमान में इस सड़क की यात्रा करनें तो स्थिति बद से बदतर ही हुई है. भारी वाहनों के चलने के कारण सड़क में गड्ढों की संख्या बढ़ी है और इस सड़क पर चलना बेहद जोखिम भरा काम हो चुका है.

मामले में उच्च न्यायालय में दायर सिविल रीट की अद्यतन स्थिति को देखें तो सरकार और सम्बंधित अधिकारियों को न्यायालय में तलब किया जा चुका है और सूचना दी गई कि निर्माण कंपनी M/s IL & FS ने तयशुदा समय का उल्लंघन किया और अब फिर से टेंडर की प्रक्रिया की जा रही है. मुकदमें में गत तिथि 05 मार्च को भारत के एडिशनल सॉलिसिटर जेनरल एस. डी. संजय ने बताया कि इस सड़क के लिए टेंडर प्रक्रिया में है और लगभग 45 दिनों के अन्दर टेंडर प्रक्रिया पूरी कर ली जायेगी. यहाँ यदि हम 05 मार्च 2019 से 45 दिन जोड़ें तो अब समय पूरा होने वाला है. 

RTI से हुए खुलासे में क्या स्थिति है?

नेशनल हाई वे संख्या 106, बीरपुर से बीहपुर की स्थिति पर जब मधेपुरा जिले के आनंदपुरा के नेमुआ निवासी पंकज कुमार, जो मधेपुरा टाइम्स के पाठक भी हैं और दिल्ली में रहते हैं, ने RTI के द्वारा स्थिति जाननी चाही तो जवाब बेहद चौंकाने वाला था. नेशनल हाइवे डिविजन के एक्जक्यूटिव इंजीनियर के कार्यालय से चीफ इंजीनियर  N.H. (North) Division, RCD, बिहार के पत्र 540 (WE) दिनांक 21 फरवरी 2019 का हवाला देते हुए बताया गया कि कुल मिलाकर इस सड़क में अबतक 14.42% ही कार्य हुए हैं. बताया गया कि इसके बाद संवेदक ने काम रोक दिया है. यह भी बताया गया कि संवेदक आर्थिक संकट से गुजर रहा है और कार्य कब तक पूरा होगा, यह कहना संभव नहीं है.

बिहार में सड़कों के निर्माण में स्थानीय समस्याओं की बात करें तो सूत्रों के मुताबिक़ छुटभैये समेत बड़े रंगदारों के वसूली की भेंट भी कई सड़कें चढ़ जाती हैं. कुल मिलाकर इस नेशनल हाई वे संख्या 106, बीरपुर से बीहपुर की स्थिति बेहद नाजुक है और उच्च न्यायालय के शिकंजे के बावजूद टेंडर होने के बाद भी इसे पूरा होने में ख़ासा समय लग सकता है.

ऐसे में जनता को चाहिए कि इसके लिए जिम्मेवारों की गर्दन इस चुनाव में पकड़ें और उनसे सवाल पूछें कि इस सड़क समेत मधेपुरा-सहरसा रोड क्यों नहीं बना और हम आपको या आपके नेता को वोट क्यों दें?
(रिपोर्ट: आर. के. सिंह)
कुछ याद इन्हें भी कर लो: 15% से भी कम काम हुए हैं NH-106 में, RTI से खुलासा: क्या हुआ हाई कोर्ट के संज्ञान के बाद ? कुछ याद इन्हें भी कर लो: 15% से भी कम काम हुए हैं NH-106 में, RTI से खुलासा: क्या हुआ हाई कोर्ट के संज्ञान के बाद ? Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on April 10, 2019 Rating: 5

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