|मुरारी कुमार सिंह|15 नवंबर 2013|
बिजली विभाग की लापरवाही से एक जान जाते-जाते बची.
घटना उदाकिशुनगंज थानाक्षेत्र के उदा गाँव की है. कृष्णदेव पासवान ने अपने घर के
ऊपर से बिजली के गुजरते तार को हटाने के लिए बिजली विभाग से गुजारिश तो की, पर
विभाग की उदासीनता बनी रही और फिर एक बड़े हादसे ने इस घर को वो दिन दिखा दिया, जो
कृष्णदेव पासवान ने कभी सोचा भी नहीं था.
छत पर
से गुजर रहे तार के बगल से चल रही कृष्णदेव की
बेटी अनुपम का गला बिजली के तार में फंस गया. 11 हजार वोल्ट से लगे झटके के बाद तो कर किसी को लगा कि अनुपम को बचाना अब संभव नहीं है. छटपटाती 16 वर्षीया अनुपम कुमारी को लोगों
ने मालिश आदि से बचाने का प्रयास किया. एक ग्रामीण ने तो तड़प रही अनुपम को डंडे से भी हलके-हलके पीटना शुरू कर दिया. पर यहाँ कहावत जाको राखे साइयां मार सके न कोई चरितार्थ हो गई. किसी ग्रामीण की चतुराई से ही स्थानीय चिकित्सक
वहां पहुँच गए और फिर पानी आदि चढाकर अनुपम की जान बचाई गई.
यहाँ हम
आपको एक वीडियो दिखने जा रहे हैं जिसमें यह दिखाया गया है कि करेंट लगने के बाद लोग
किस तरह की मनोस्थिति में आ जाते हैं और कैसे अजीबोगरीब इलाज करने लगते हैं. जबकि मरीज
को तुरंत ही नजदीक के अस्पताल में ले जाना चाहिए जहाँ जानकार चिकित्सक उसकी देखरेख
कर सकेंगे.(रांची एक्सप्रेस की यह जानकारी आपको काम दे सकती है: बिजली के झटके को हलके में न लें.
करेंट लगने के बाद क्या हुआ, इस वीडियो में देखें. यहाँ क्लिक करें.
'जाको राखे साइयां'...11 हजार वोल्ट के करेंट लगने पर भी बच गई लड़की
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
November 15, 2013
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