तूफ़ान और प्रलय की आशंका से सहमे हैं लोग

मधेपुरा में भी चर्चा गर्म है कि २१ मई २०११ प्रलय का दिन होगा और इस दिन सब कुछ तबाह हो जाएगा.वैसे भी यहाँ के लोग बीती मंगलवार की रात की आंधी से इस कदर सहमे हुए हैं कि वे अब विश्वास करने लगे हैं कि दुनियां तबाह हो भी सकती है.उस रात की आंधी की चर्चा कर लोग कहते हैं कि वैसी तेज और भयावह आंधी किसी ने अब तक जीवन में नही देखा था.उस रात बादलों की गडगडाहट और वज्रपात थमने का नाम ही नही ले रहा था.हवा के तेज झोंके और बारिश से बहुमंजिली इमारत में ऊपर के
कमरों में भी पानी लग चुका था.लोग तो कम मरे पर कुल मिलाकर क्षति काफी हुई थी.अगली बुधवार की रात भी कमोबेश वही स्थिति थी.थोड़ी कम आंधी ने फिर लोगों को सुरक्षित जगह छिपने के लिए मजबूर कर दिया था.इसी बीच कुछ टीवी चैनलों पर ये प्रसारित किया जाने लगा कि २१ मई को शाम छ: बजे के आसपास से दुनियाँ ही खत्म हो जायेगी. 
       
हैरोल्ड कैम्पिंग 
           दरअसल ऑकलैंड, कैलिफोर्निया के सिविल इंजीनियर रहे भविष्यवक्ता हैरोल्ड कैम्पिंग की पिछले दिनों की ये भविष्यवाणी कि २१ मई २०११ को पृथ्वी पर जीवन का आख़िरी दिन होगा, ने पूरे विश्व में इस तरह की चर्चा को जन्म दिया है..कैम्पिंग ने इस भविष्यवाणी के पीछे बाइबिल को  आधार बनाया है.
    पर दुनियां के अन्य वैज्ञानिकों का ऐसा नही मानना है.कुछ तो दावा करते हैं कि कैम्पिंग की पूर्व में की गयी कई भविष्यवाणी भी गलत साबित हुई है और इस बार भी कुछ ऐसा ही होने जा रहा है.यानी जीवन चलने का नाम है और अरबों वर्ष में विकसित इतनी सुन्दर धरती यूं ही एक झटके से बर्बाद नही हो सकती.
तूफ़ान और प्रलय की आशंका से सहमे हैं लोग तूफ़ान और प्रलय की आशंका से सहमे हैं लोग Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on May 20, 2011 Rating: 5

2 comments:

  1. I don't know why people in Madhepura give importance to these type of rumour.I have heard no one in Delhi discussing this.

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