मधेपुरा का गौरव- सुमित


होनहार बिरवान के होत चिकने पात- कहावत को चरितार्थ किया मधेपुरा के मध्य वर्गीय व्यवसायी शम्भू साह के पुत्र सुमित कुमार साह ने.सुमित टेबुल टेनिस में राष्ट्रीय बाल पुरस्कार २००४ प्राप्त कर बिहार का नाम राष्ट्रीय स्तर पर रौशन किया है.
राज्य का नाम तो सुमित ने रौशन जरूर किया लेकिन राज्य के मुखिया इसे अंधेर नगरी से नहीं निकाल पाए,नतीजतन राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित मास्टर सुमित मधेपुरा के सडक पर गुमनामी की जिंदगी जी रहें हैं.
मास्टर सुमित की शिक्षा-दीक्षा स्थानीय सरकारी विद्यालयों में हुई.मास्टर सुमित ८ साल की उम्र से ही टेबुल टेनिस के राज्य स्तरीय प्रतियोगिताओं में भाग लेना प्रारंभ कर दिया था जिसमे पहली बार १८वीं बिहार राज्य टेबुल टेनिस चैम्पियनशिप में हिस्सा लिया और जीत दर्ज की,पुन:वर्ष २००१ में मुजफ्फरपुर में आयोजित मेजर प्रतियोगिता के कैडेट बालक एकल में उप-विजेता का श्रेय अर्जित किया,गुजरात के बड़ोदा में आयोजित गेल ६३वी सब-जूनियर नेशनल एंड इंटर स्टेट टेबल टेनिस चैम्पियनशिप २००१ में भी बिहार का प्रतिनिधित्व किया.जिला स्तरीय ५० वीं बिहार राज्य टेबल टेनिस चेम्पियनशिप में जीत दर्ज किया और अप्रैल २००४ में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया द्वारा आयोजित टेबल टेनिस प्रतियोगिता में भी फतह हासिल की.नवंबर २००२ में ५१वी बिहार राज्य टेबल टेनिस चैम्पियन शिप का प्रतिनिधित्व किया.मानव संसाधन विकास मंत्रालय भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास विभाग, नई दिल्ली द्वारा वर्ष २००४ में प्रतिभावान खिलाड़ी मास्टर सुमित को राष्ट्रीय बाल पुरस्कार से नवाजा गया.भारत सरकार के तत्कालीन मानव संसाधन मंत्री अर्जुन सिंह एवं तत्कालीन केन्द्रीय मानव संसाधन राज्य मंत्री कान्ति सिंह की मौजूदगी में एक समारोह दिल्ली में आयोजित कर मास्टर सुमित कुमार साह को दस हजार रूपये के चेक,चांदी का पदक एवं प्रमाणपत्र दिया गया.वर्तमान में सुमित स्थानीय टी०पी० कालेज से इंटर की परिक्षा पास कर आगे की पढाई के लिए सरकार से सहायता की आस में बैठे हैं.सुमित को राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित होने की खबर से मधेपुरा वासियों में हर्ष व्याप्त है,
मधेपुरा का गौरव- सुमित मधेपुरा का गौरव- सुमित Reviewed by Rakesh Singh on March 30, 2010 Rating: 5

1 comment:

  1. Good going dear.....keep us all proud as u always. god bless!

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