'अधिकार की बात तब करें जब हम कर्तव्यों का पालन करते हों': राष्ट्रीय मानवाधिकार सर्वेक्षण की बैठक

राष्ट्रीय मानवाधिकार सर्वेक्षण की बैठक जिलाध्यक्ष श्याम किशोर यादव की अध्यक्षता में आयोजित की गई. बैठक को संबोधित करते हुए श्री यादव ने कहा कि मानवाधिकार वे नैतिक सिद्धान्त हैं जो मानव व्यवहार से सम्बन्धित कुछ निश्चित मानक स्थापित करता है. ये मानवाधिकार स्थानीय तथा कानूनों द्वारा नियमित रूप से रक्षित होते हैं. उन्होंने कहा कि ये अधिकार प्रायः ऐसे आधारभूत अधिकार हैं जिन्हें प्रायः न छीने जाने योग्य माना जाता है और यह भी माना जाता है कि ये अधिकार किसी व्यक्ति के जन्मजात अधिकार हैं. व्यक्ति के आयु, प्रजातीय मूल, निवास-स्थान, भाषा, धर्म, आदि का इन अधिकारों पर कोई प्रभाव नहीं होता. ये अधिकार सदा और सर्वत्र देय हैं तथा सबके लिए समान हैं. 

संगठन के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य राकेश मोहन झा ने कहा कि सरकार व उसके तंत्र का उद्देश्य होना चाहिए कि वे इस अधिकार को जमीनी रूप पर लागू करें. वहीं उन्होंने लोगों से कहा कि अधिकार की बात तब करें जब हम कर्तव्यों का पालन करते हों. 

महिला सेल की जिलाध्यक्ष प्रो. तंद्रा शरण ने कहा कि हमलोग अब संगठन का सामाजिक दायरा को बढ़ाएं, इसके बाद ही लोग मानवाधिकार के प्रति जागरूक होंगे. बैठक में आगामी कार्यक्रमों पर चर्चा की गई. सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि जिले में विभिन्न स्थानों पर लीगल कैंप का आयोजन, सावन के अंतिम सोमवारी को कॉवरियों के कैंप का आयोजन, 15 अगस्त को सम्मान समारोह के आयोजन किया जाएगा. 

मौके पर अधिवक्ता कौशल किशोर सिन्हा, सूचिन्द्र कुमार सिंह, धरणीधर सिंह, सुकेश राणा, सुनीत साना, नवीन कुमार, रामचंद्र राज, संजीव कुमार, बंटी सिंह, रनिंग कुमार, रोशन कुमार समेत अन्य लोग मौजूद थे.

'अधिकार की बात तब करें जब हम कर्तव्यों का पालन करते हों': राष्ट्रीय मानवाधिकार सर्वेक्षण की बैठक 'अधिकार की बात तब करें जब हम कर्तव्यों का पालन करते हों': राष्ट्रीय मानवाधिकार सर्वेक्षण की बैठक Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on August 01, 2022 Rating: 5

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