बताया गया कि पूर्व प्रमुख के पुत्र अनुज को गांव के ही वार्ड 9 में एक युवक रामप्रवेश के घर से मांस खाने का निमंत्रण मिला हुआ था. इसके बाद शनिवार की रात को अनुज अपनी बुलेट से दोस्त के घर खाना खाने के लिए अपने घर से निकला था लेकिन कुछ देर के बाद पुलिस को सूचना मिली कि अनुज का एक्सीडेंट हो गया है. घटना स्थल रामप्रवेश के घर से थोड़ा पहले है, वहीं पर अनुज की बुलेट भी पड़ी हुई थी. इसके बाद वहां एक ओर से पुलिस पहुंची और दूसरी ओर से अन्य लोगों के साथ अनुज का साथी त्रिभुवन, रामप्रवेश और सरोज भी पहुंचा. लोगों की माने तो तीनो वहां खूब रो रहे थे, लेकिन लोगों को उसी पर घटना को अंजाम देने का शक होने लगा. लोगों के आक्रोश को देखकर तीनो वहां से खिसक गए. इसके बाद आक्रोशितों ने त्रिभुवन की कार में आग लगा दी. फिलहाल मामला तनावपूर्ण बना हुआ है.
मृतक के परिजनों ने पोस्टमार्टम के बाद लाश को लेकर लगभग 4 घंटे परमानपुर ओपी पर रख कर प्रदर्शन किया.
हत्या से आक्रोशित लोगों ने परमानंदपुर ओपी के समीप रोड जाम कर लगभग 4 घंटे तक विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान काफी संख्या में लोगों की भीड़ ओपी परिसर में मौजूद रही. भीड़ को कंट्रोल करने पहुंचे गम्हरिया पुलिस को लोगों ने खदेड़ दिया. लोग घटनास्थल पर डीएसपी और एसपी को बुलाने की मांग कर रहे थे.
लोगों की भीड़ को देखते हुए घैलाढ़, सदर थाना मधेपुरा, मठाही ओपी, शंकरपुर थाना और गम्हरिया थाना की पुलिस घटनास्थल पर पहुंचकर लोगों को समझा-बुझाकर शांत किया. घटनास्थल पर पहुंचे टाउन इंस्पेक्टर प्रशांत कुमार से लोग बात करने से इनकार कर दिया. बाद में काफी समझाने के बाद लोग उनसे वार्ता के लिए तैयार हुए. लोगों ने मांग किया कि परमानंदपुर ओपी अध्यक्ष झोंटी राम और एएसआई विजय प्रसाद को निलंबित करने की मांग कर रहे थे. इंस्पेक्टर प्रशांत कुमार के लिखित आश्वासन पर लोगों ने रोड जाम समाप्त किया लेकिन गांव में तनाव का माहौल बना हुआ है. चार थाने की पुलिस लाश जलाने तक ओपी पर बने रहे. ग्रामीणों द्वारा लाश का दाह संस्कार कर दिया गया. मृतक के परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है.

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