मालूम हो कि सोमवार को गुप्त सूचना पर कमांडो विपिन को सूचना मिली कि एक माल वाहक ऑटो प्रतिबंधित कफ सिरप लेकर पूर्णिया गोला चौक के पूर्व के रास्ते से ले जा रहा है. कमांडो विपिन ने तत्काल ऑटो सहित एक ऑटो चालक को पकड़कर थाना लाया. ऑटो की जांच में 50 कार्टन कफ सिरप सहित अन्य मेडिकेटेड सामान बरामद किया. पुलिस ने कफ सिरप की जांच के लिए ड्रग इंस्पेक्टर को बुलाया. ड्रग इंस्पेक्टर ने थाना पहुंच कर साफ कर दिया कि कफ सिरफ प्रतिबंधित नहीं बल्कि यह डॉक्टर के पुर्जा पर मरीज को दवा के रूप में लिखा जाता है.
वहीं कफ सिरप सहित अन्य सामान किस दवा एजेन्सी का है सोमवार की शाम तक न खुलासा हुआ और न ही किसी दवा एजेन्सी दूकानदार आगे आए. पुलिस ने घटना की जानकारी एसपी योगेन्द्र कुमार को दी. एसपी ने मामले की जांच सर्किल इंस्पेक्टर प्रशान्त कुमार को दी. इंस्पेक्टर श्री कुमार ने मामले की जांच करते हुए ऑटो जिस ट्रांसपोर्ट से निकला था उस ट्रांसपोर्टर को हिरासत में लिया. वहीं ऑटो में अन्य सामान के अलावे एक दवा एजेन्सी के दूकानदार को हिरासत में लिया.
सूत्र की माने तो मंगलवार को इंस्पेक्टर ने सदर थाना मे ट्रांसपोर्टर और दवा एजेन्सी दूकानदार से घंटो उक्त माल के बावत पूछताछ की.
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार ट्रांसपोर्टर ने पूछताछ में शहर के एक दवा एजेन्सी का कफ सिरप होने की पुष्टि करते हुए माल का उन एजेन्सी के नाम आये विलटी भी पुलिस के सामने रखा है. साथ ही ऑटो पर अन्य मेडिकेटेड सामान को लेकर एक दवा एजेन्सी ने विलटी पुलिस को दिया है.
मामले की जांच कर रहे पुलिस पदाधिकारी ने कफ सिरप किसका है उसका खुलासा देर शाम तक नहीं किया है.
ट्रांसपोर्टर ने मधेपुरा टाइम्स को बताया कि पुलिस द्वारा जब्त कफ सिरप शहर के ही एक मेडिकल के नाम से ट्रांसपोर्ट से आया था, जिसके नाम से विलटी है और जिसे पुलिस को दिया गया है.
इस बावत एसपी से सम्पर्क करने की कोशिश की गयी लेकिन सम्पर्क नहीं हो सका.

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