मौत का अब भी है खौफ सिमराहा के दलितों में

|संतोष भारतीय|08 जुलाई 2013|
गत 3 जुलाई की रात में मठाही ओपी के सिमराहा गाँव में हुई महादलित की हत्या के बाद से गाँव में दहशत का माहौल है. मृतक की पत्नी के बार-बार बयान बदलने से हत्या विवादित होती जा रही है. मधेपुरा पुलिस के खोजी कुत्ते ने शक की सूई जिधर-जिधर घुमाई उधर से बहुत कुछ हासिल होना बाक़ी है.
      पर इतना निश्चित लग रहा है कि हत्यारों ने अब महादलितों में और भी दहशत बढ़ाना शुरू कर दिया है ताकि एक तो गवाह अब हत्यारों का खुलासा न कर दे दूसरा कि मौत के खौफ से वे जमींदार की बाक़ी जमीन पर भी अपना कब्ज़ा छोड़ कर भाग जाएँ.
     
सिमराहा सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक हत्या के करीब 15 दिन पहले गाँव के ही रमेश यादव और गोहल सदा में खेत के मनहूनडा को लेकर विवाद हुआ था जिसके बाद विवादित खेत में लगे मूंग को जबरन तोड़ने पर दुश्मनी बढ़ गई थी. उसी समय से सिमराहा सुलग रहा था.
      कहते हैं कि बीती रात भी दलितों को डराने का प्रयास किया गया जिसके बाद गोहल सदा, पवन सदा, देवो सदा, सुरेश सदा आदि अब अपनी हत्या की भी आशंका भी दबी जुबान से व्यक्त कर रहे हैं.
मौत का अब भी है खौफ सिमराहा के दलितों में मौत का अब भी है खौफ सिमराहा के दलितों में Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on July 08, 2013 Rating: 5

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