रूद्र ना० यादव/०६ अप्रैल २०१२
जिले के सिंघेश्वर थानान्तर्गत नारियल विकास बोर्ड
के पास वाहन चेकिंग के नाम पर अवैध वसूली का धंधा जोर पकड़ता जा रहा है.अक्सर शाम
में यहाँ वाहन चेकिंग के लिए जमे पुलिस वाले चेकिंग के नाम पर वाहन के कागजात जांच
करते हैं और थानाध्यक्ष आर.एन.तिवारी के दलाल वहां कागजात में कमी होने पर नाजायज
राशि की मांग करते हैं.सौ-दो सौ रूपये लेकर ये ऐसे वाहन मालिकों को छोड़ देते
हैं.यदि वाहन मालिक पैसे देने में ना-नुकुर करें तो फिर इनके वाहनों को सिंघेश्वर
थाना में जा कर लगा दिया जाता है.जिला प्रशासन की सख्ती का आदेश इन पुलिसकर्मियों के
लिए वरदान साबित हो जाता है.प्रशासन के आलाधिकारी समझते हैं कि उनके आदेश का यहाँ
पालन हो रहा है, जबकि यहाँ आधिकारियों के आदेशपालन की आड़ में ये वर्दी का रौब जमकर
आम लोगों को लूटने में लग जाया करते हैं.कई वाहन मालिकों ने शिकायत की कि
इंश्योरेंस कुछ दिनों से फेल होने की वजह से उन्हें काफी प्रताड़ित किया गया जबकि
वहीँ कोई कागज़ नहीं होने पर भी पैसा दे देने वालों को मुस्कुराते हुए ये पुलिस
वाले जाने दे रहे थे.कुछ पीडितों ने अब सिंघेश्वर थानाध्यक्ष की लिखित शिकायत
डीआईजी से भी की है.
लोगों
को तो ये पुलिस हेलमेट तक नहीं पहनने पर लताड़ते हैं,पर जिले में कई जगह इन
पुलिसवालों को बिना हेलमेट के तीन-तीन सवार होकर मोटरसायकिल चलाते देखा जा सकता
है.यानी आम आदमी के लिए क़ानून अलग और इनके लिए कुछ और.जाहिर सी बात है जिले के ऐसे
पुलिसकर्मी नए आरक्षी अधीक्षक की जिले में क़ानून व्यवस्था को बेहतर बनाने की योजना
पर पानी फेरने जैसा काम करने से पीछे हटनेवाले नहीं हैं.उम्मीद किया जा सकता है कि
नए आरक्षी अधीक्षक स्वयं ही इस मामले को देखेंगे, नहीं तो घूस के आदी हो चुके जिले
के कई पुलिसकर्मी उनकी किरकिरी बनाने में पीछे नहीं रहने वाले हैं.
वाहन चेकिंग के नाम पर पुलिस कर रही अवैध वसूली
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
April 06, 2012
Rating:
Really, it's a matter of concern. We can't remain silent for long. They are doing injustice to people. Law must be equal for every citizen, from a washerman to p.m or prez...
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