मधेपुरा जिले के मुरलीगंज थानाक्षेत्र के जोरगामा पंचायत के वार्ड नं.4 के रहने वाले एक व्यक्ति की आपसी विवाद में गला काट कर हत्या के प्रयास की बात आज चारों तरफ फ़ैल गई. गंभीर हालत में पीड़ित महेंद्र यादव को मुरलीगंज पी एच सी लाया गया पर मुरलीगंज पी एच सी के डॉक्टरों ने स्थिति काफी नाजुक होने के कारण उसे सदर अस्पताल मघेपुरा के लिए भेज दिया.
हालांकि इस मामले में कई ग्रामीणों का कहना कुछ और ही है. दबी जुबान से दर्जनों लोगों ने बताया कि मामला हत्या के प्रयास का नहीं बल्कि आत्महत्या का अधिक लगता है.
मिली जानकारी के अनुसार महेन्द्र यादव रहने वाला सही मायने में कोहबरा कुमारखण्ड का रहने वाला है और पहले यह व्यक्ति अपनी पहली पत्नी और बच्चों के वहीं रहता था. पर करीब बीस वर्षों से यह जोरगामा मे शादी कर घर जमाई के रूप मे रहना शुरू किया था. यहाँ महेन्द्र यादव ने कैलू यादव की तीसरी पुत्री से विवाह किया और बस गया जिसके कुछ दिनों बाद उसकी पहली पत्नी का बेटा भी जोरगामा में ही आकर बस गया. पिछले कुछ दिनों से पिता और पुत्र का विवाद चल रहा था. ग्रामीणों ने बताया कि महेन्द्र यादव अपनी पहली पत्नी से उत्पन्न पुत्र जो शादी शुदा और अपने पिता के बगल मे ही रहता है, को जोरगामा छोड़ कर कोहबरा जाने कह रहा था पर पुत्र वहाँ पत्नी सहित जाने को तैयार ही नहीं था. ग्रामीणों के अनुसार इस व्यक्ति ने पुत्र के चापाकल में थाइमेट गिर दिया था पर पुतोहू को इस बात की जानकारी मिल गई और सब बच गए थे. इधर दो दिन पहले से महेन्द्र यादव अपने सभी मवेशी को हटा कर बेटी -दामाद के यहाँ छोड़ आया था और कल से ही वह परिवार के लोगों को धमकी दे रहा थी कि हम अपनी खुदकुशी कर सभी को कानूनी पचड़े मे ड़ाला देंगे. अधिकांश लोगों का कहना था कि धमकी के अनुसार उसने पिछली रात के तीसरे पहर इस घटना को अंजाम देने की कोशिश की.
हालांकि पूरे मामले का खुलासा पुलिस जांच के बाद ही हो सकेगा कि क्या सचमुच महेंद्र की हत्या का प्रयास हुआ जैसा कि उसका आरोप है या फिर उसने आत्महत्या की कोशिश कर सबको फंसाने का प्रयास किया?
हालांकि इस मामले में कई ग्रामीणों का कहना कुछ और ही है. दबी जुबान से दर्जनों लोगों ने बताया कि मामला हत्या के प्रयास का नहीं बल्कि आत्महत्या का अधिक लगता है.
मिली जानकारी के अनुसार महेन्द्र यादव रहने वाला सही मायने में कोहबरा कुमारखण्ड का रहने वाला है और पहले यह व्यक्ति अपनी पहली पत्नी और बच्चों के वहीं रहता था. पर करीब बीस वर्षों से यह जोरगामा मे शादी कर घर जमाई के रूप मे रहना शुरू किया था. यहाँ महेन्द्र यादव ने कैलू यादव की तीसरी पुत्री से विवाह किया और बस गया जिसके कुछ दिनों बाद उसकी पहली पत्नी का बेटा भी जोरगामा में ही आकर बस गया. पिछले कुछ दिनों से पिता और पुत्र का विवाद चल रहा था. ग्रामीणों ने बताया कि महेन्द्र यादव अपनी पहली पत्नी से उत्पन्न पुत्र जो शादी शुदा और अपने पिता के बगल मे ही रहता है, को जोरगामा छोड़ कर कोहबरा जाने कह रहा था पर पुत्र वहाँ पत्नी सहित जाने को तैयार ही नहीं था. ग्रामीणों के अनुसार इस व्यक्ति ने पुत्र के चापाकल में थाइमेट गिर दिया था पर पुतोहू को इस बात की जानकारी मिल गई और सब बच गए थे. इधर दो दिन पहले से महेन्द्र यादव अपने सभी मवेशी को हटा कर बेटी -दामाद के यहाँ छोड़ आया था और कल से ही वह परिवार के लोगों को धमकी दे रहा थी कि हम अपनी खुदकुशी कर सभी को कानूनी पचड़े मे ड़ाला देंगे. अधिकांश लोगों का कहना था कि धमकी के अनुसार उसने पिछली रात के तीसरे पहर इस घटना को अंजाम देने की कोशिश की.
हालांकि पूरे मामले का खुलासा पुलिस जांच के बाद ही हो सकेगा कि क्या सचमुच महेंद्र की हत्या का प्रयास हुआ जैसा कि उसका आरोप है या फिर उसने आत्महत्या की कोशिश कर सबको फंसाने का प्रयास किया?
पहली पत्नी के पुत्र के साथ विवाद में बुजुर्ग का गला कटा
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
July 18, 2016
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