मधेपुरा जिले के बच्चों के हाथों में भी कृतियों को निखारने की कला है. आये दिन विभिन्न स्कूलों में उनके द्वारा बनाये गए कलाकृतियों को सराहा जा रहा है.
मुरलीगंज के काशीपुर मोहल्ला स्थित वेल्डन फ्यूचर पब्लिक स्कूल में छात्रों द्वारा आयोजित स्वनिर्मित हस्त शिल्पकला प्रदर्शनी अपने आप में काफी स्तरीय थी. प्रदर्शनी का उद्घाटन करने गई नगर पंचायत की मुख्य पार्षद सर्जना सिद्धी भी बच्चों के द्वारा बनाये गए हस्तशिल्प कला को देखकर दांग रह गई. उन्होंने इस प्रदर्शनी को काफी सराहा तथा कहा कि बढ़ती जनसंख्या और बढ़ते रोजगार के दौर में आने वाले समय मे लोगो को स्वयं रोजगार का सृजन कर बेरोजगारी दूर करनी होगी. और इसमें इस तरह की कला के अच्छे परिणाम देखने को
स्कूल के निदेशक अशोक कुमार वर्मा ने अतिथियों का स्वागत बुके व माला पहनाकर किया. स्कूल के बच्चों ने विभिन्न स्टॉल लगाकर स्वनिर्मित हस्त शिल्प कला के माध्यम से पर्यावरण, स्मार्ट सीटी, आंतरिक्ष, देश की सुरक्षा एवं आधुनिक भारत की कई अहम चीजों को दिखाने का प्रयास किया. बच्चो ने स्वरोजगार के लिए विभिन्न तरह की दुकानें खोलकर यह दिखाने का प्रयास किया कि विषम प्रस्थिति मे स्वयं रोजगार कर अपने परिवार को चला सकते है. मौके पर प्रो.नागेन्द्र प्रसाद यादव, शिक्षक विश्वजीत कुमार, सुमन कुमार, शैलेन्द्र कुमार, सीआरसी पूनम शर्मा, रमेष कुमार, कमलेष कुमार, सुभाक्षी, अनुजा, भारती, प्रज्ञा बाफना, रोहित आनंद आदि मौजूद थे.
जरूरत है बच्चों की इन प्रतिभा को निखारने की ताकि इनकी प्रतिभा की चर्चा देश स्तर पर हो सके.
मुरलीगंज के काशीपुर मोहल्ला स्थित वेल्डन फ्यूचर पब्लिक स्कूल में छात्रों द्वारा आयोजित स्वनिर्मित हस्त शिल्पकला प्रदर्शनी अपने आप में काफी स्तरीय थी. प्रदर्शनी का उद्घाटन करने गई नगर पंचायत की मुख्य पार्षद सर्जना सिद्धी भी बच्चों के द्वारा बनाये गए हस्तशिल्प कला को देखकर दांग रह गई. उन्होंने इस प्रदर्शनी को काफी सराहा तथा कहा कि बढ़ती जनसंख्या और बढ़ते रोजगार के दौर में आने वाले समय मे लोगो को स्वयं रोजगार का सृजन कर बेरोजगारी दूर करनी होगी. और इसमें इस तरह की कला के अच्छे परिणाम देखने को
स्कूल के निदेशक अशोक कुमार वर्मा ने अतिथियों का स्वागत बुके व माला पहनाकर किया. स्कूल के बच्चों ने विभिन्न स्टॉल लगाकर स्वनिर्मित हस्त शिल्प कला के माध्यम से पर्यावरण, स्मार्ट सीटी, आंतरिक्ष, देश की सुरक्षा एवं आधुनिक भारत की कई अहम चीजों को दिखाने का प्रयास किया. बच्चो ने स्वरोजगार के लिए विभिन्न तरह की दुकानें खोलकर यह दिखाने का प्रयास किया कि विषम प्रस्थिति मे स्वयं रोजगार कर अपने परिवार को चला सकते है. मौके पर प्रो.नागेन्द्र प्रसाद यादव, शिक्षक विश्वजीत कुमार, सुमन कुमार, शैलेन्द्र कुमार, सीआरसी पूनम शर्मा, रमेष कुमार, कमलेष कुमार, सुभाक्षी, अनुजा, भारती, प्रज्ञा बाफना, रोहित आनंद आदि मौजूद थे.
जरूरत है बच्चों की इन प्रतिभा को निखारने की ताकि इनकी प्रतिभा की चर्चा देश स्तर पर हो सके.
(रिपोर्ट: अमित सिंह)
बच्चों में भी है हस्त शिल्पकला निर्माण की अद्भुत क्षमता: इन्हें आगे बढाने की है जरूरत
Reviewed by मधेपुरा टाइम्स
on
September 01, 2015
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