98 देशों में पहुँच: विचारों को साझा करने का बेहतर मंच है एमटी

मधेपुरा टाइम्स की बढ़ती लोकप्रियता का कारण इसके पाठक अलग-अलग बताते हैं. पर देश और दुनियां भर में इसे रोज पढ़ने हजारों पाठकों में से अधिकाँश पाठकों का मानना है कि वे जब तक इसे प्रतिदिन कम से कम एक या दो बार नहीं पढ़ते है तबतक लगता है जैसे कुछ छूट रहा हो.
      साहित्य अकादमी का सम्मान प्राप्त डा० शेफालिका वर्मा का कहना है कि मधेपुरा टाइम्स को देखते ही मायका आँखों के सामने घूमने लगता है.
      निफ्ट जैसी कठिन परीक्षा पास की एलिस तो मधेपुरा टाइम्स की तारीफ़ के पुल बांधते नहीं थकती. कहती है वह जब निफ्ट की परीक्षा में पास करने वाली जिला की पहली लड़की बनी थी तो मधेपुरा टाइम्स पर मेरे बारे में छपी खबर ने ही मुझे प्रसिद्धि दी. बाहर रहने वालों के लिए तो इससे बेहतर कुछ नहीं. और सबसे बड़ी बात तो ये है कि आपके इलाके में क्या चल रहा है जानने के साथ ही ये एकलौता समाचारपत्र है जहाँ आप अपना सुझाव दे सकते हैं और टिप्पणी कर सकते हैं. पीएमसीएच में डॉक्टर प्रीति का कहना है कि यहाँ रचनात्मकता की भरमार है.
      सचिवालय सहायक की परीक्षा में सफल रचना भारतीय कहती है ये अपनी जमीन से जुड़े होने का एहसास दिलाती है. ये जहाँ विचारों को साझा करने का बेहतर मंच है वहीं निष्पक्षता के पैमाने पर भी खड़ा उतरा है. कला, संस्कृति, साहित्य, शख्शियत और समाचारों का संगम मधेपुरा टाइम्स प्रशासन और समाज की बुराइयों को सामने लाकर जनता की आवाज को अभिव्यक्ति देता है. 
      कुमारखंड के ग्रामीण इलाके में रहने वाली श्रुति भारती कहती है कि सबसे तेज खबर देना और ईमानदारी इसकी खासियत है. फेसबुक जैसे सोशल नेटवर्किंग साईट का सदुपयोग भी मधेपुरा टाइम्स सिखाती है.
      चन्दन चक्रवर्ती जहाँ इसे हमेशा अपडेट मानते हैं वहीं सीएससी मधुबनी और मनीष रॉक इसकी हिम्मत और ईमानदारी के कायल हैं. आशुतोष सिंह जैसे लोगों का मानना है कि बिहार में जिसकी सरकार उसकी खबर, सही खबर नहीं मिलती है, पर मधेपुरा टाइम्स से हमें सही जानकारी मिल जाती है. पर जमशेदपुर के हरिओम एनवाईरो-टेक के संस्थापक सहित दीपक राज जैसे सैंकड़ों लोगों का मानना है कि कोई शब्द नहीं है मधेपुरा टाइम्स के लिए, इसका सबकुछ अच्छा है.
      आज जब एक छोटे से जिला से निकला यह अखबार दुनियां के 98 देशों तक अपनी पहुँच बना चुका है तो जाहिर सी बात है ये लोगों को अच्छा तो लगता ही है.
98 देशों में पहुँच: विचारों को साझा करने का बेहतर मंच है एमटी 98 देशों में पहुँच: विचारों को साझा करने का बेहतर मंच है एमटी Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on February 09, 2013 Rating: 5

2 comments:

  1. My Best wishes are always with Madhepura Times.

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