विरोध और मांगें : मधेपुरा में बैंकों की हड़ताल का ख़ासा असर

ऑल इंडिया बैंक स्ट्राइक के तहत जहां देश भर में 10 लाख बैंक कर्मचारी और अधिकारी आज हड़ताल पर रहे वहीं मधेपुरा में भी बैंकों की हड़ताल का खासा असर दिखाई दिया.

     बैंकों के सामने अधिकारी एवं कर्मचारी अपनी मांगों के समर्थन में बैंकों में ताला बंद कर खड़े थे. उनका विरोध एंटी-पीपल बैंकिंग और लेबर रिफौर्म्स, ट्रेड युनियन के अधिकारों में सरकार का दखल, स्थायी नौकरी में आउटसोर्सिंग को लेकर था जबकि उनकी डिमांड में डीमोनेटाइजेशन के दौरान स्टाफ के द्वारा किये गए कार्यों का पारिश्रमिक और भरपाई, रिटायरमेंट बेनिफिट में सुधार करना, रिटायरमेंट बेनिफिट पर पूरी तरह इनकम टैक्स की छूट होना, अगले वेज रिविजन के प्रक्रिया को जल्द से जल्द शुरू करना, कंपनी अपॉइंटमेंट स्कीम को सही ढंग से लागू करना, सभी कैडर्स में पर्याप्त बहाली करना, सप्ताह में 5 दिनों की बैंकिंग होना और लोन की रिकवरी के लिए या ऐसे डिफॉल्टर्स जो जानबूझकर ऐसा कर रहे हैं उनके खिलाफ में कड़े से कड़े कदम उठाना आदि शामिल थे.
     मधेपुरा जिला मुख्यालय स्थित स्टेट बैंक की मुख्य शाखा के सामने मुख्य प्रबंधक संजय कुमार करण, उदाकिशुनगंज के शाखा प्रबंधक कुंदन कुमार, बीएनएमयू के शाखा प्रबंधक आशीष कुमार, मधेपुरा सिटी शाखा प्रबंधक दिलीप कुमार, मठाई शाखा प्रबंधक दीपचंद अग्रवाल, क्षेत्रीय सचिव अधिकारी संघ एवं शाखा प्रबंधक बिशनपुर अरार अविनाश कुमार, कर्मचारी संघ के क्षेत्रीय सचिव रंजन कुमार के अलावा सनी कुमा,र विवेक कुमार, धर्मेंद्र, पंकज, राजीव एवं मधेपुरा के सभी अधिकारी एवं कर्मचारी मौजूद थे.
     उधर यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन एवं यूनाइटेड फोरम ऑफ आरआरबी यूनियन के आवाहन पर उत्तर बिहार ग्रामीण बैंक के स्टाफ भी 8 सूत्री मांगों को लेकर आज हड़ताल पर रहे, जिसमें राजेश सिन्हा, उदित प्रियम, आशीष रंजन झा, मनीष झा, सौरभ कुमार, कुंदन सिन्हा, राकेश कुमार, अमित कुमार, विजेंद्र शर्मा, गंगा प्रसाद साह, राहुल कुमार सिं, गौरव मिश्रा, अनिल कुमार, सिंटू कुमार, अखिलेश कुमार आदि शामिल हुए.
विरोध और मांगें : मधेपुरा में बैंकों की हड़ताल का ख़ासा असर विरोध और मांगें : मधेपुरा में बैंकों की हड़ताल का ख़ासा असर Reviewed by मधेपुरा टाइम्स on February 28, 2017 Rating: 5
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